Today news11

Hindi news,Latest News In Hindi, Breaking News Headlines Today ,हिंदी समाचार,Today news11

अक्टूबर माह की शुरूआत में CM धामी मंत्रिमंडल में हो सकता है बड़ा फेरबदल,

1 min read

उत्तराखंड में मंत्रिमंडल विस्तार में बड़ा फेरबदल देखने को मिल सकता है। सूत्रों की मानें तो पिछले साल केंद्र में हुए बड़े मंत्रिमंडल विस्तार की तर्ज पर ही राज्य में भी बड़ा विस्तार हो सकता है जिसमें कई दिग्गजों की छुट्टी हो सकती है और नये चेहरों को एंट्री मिल सकती है। सूत्रों के अनुसार भाजपा आलाकमान मंत्रिमंडल विस्तार की योजना को अंतिम रूप देने की तैयारियों में जुटा है। इस बारे में मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी और प्रदेश अध्यक्ष महेन्द्र भट्ट से अलग-अलग फीडबैक भी लिया गया है। सूत्रों के अनुसार आलाकमान राज्य में सरकार के कामकाज में सुधार लाने और हाल की घटनाओं से बिगड़ी छवि को बदलने के लिए बड़ा बदलाव कर सकता है। कोशिश यह है कि मंत्रिमंडल का चेहरा बदलकर सरकार को लेकर जनता में अच्छा संकेत दिया जाए। राज्य में कुल 12 मंत्री बन सकते हैं। सूत्रों के अनुसार कुमाऊं से जहां एक ब्राह्मण को मंत्री बनाया जा सकता है, वहीं गढ़वाल क्षेत्र से लगे मैदानी इलाके को प्रतिनिधित्व देने की भी संभावना है। ऐसे में हरिद्वार से मदन कौशिक मंत्री या प्रदीप बत्रा में से किसी को मंत्री बनाया जा सकते हैं।

आगामी लोकसभा चुनावों के मद्देनजर भी हरिद्वार सीट महत्वपूर्ण है। कुमाऊं से ब्राह्मण चेहरे के तौर पर रानीखेत के विधायक प्रमोद नैनवाल की दावेदारी सबसे मजबूत नजर आती है। पेशे से वकील नैनवाल लम्बे समय से संघ से भी जुड़े हैं। कुमाऊं में करीब 40 फीसदी ब्राह्मण आबादी है। कुल दो ब्राह्मण विधायक हैं। दूसरे बंसीधर भगत हैं जो पूर्व मंत्री रह भी चुके हैं। नैनवाल वरिष्ठ कांग्रेस नेता हरीश रावत के गांव मोहनरी के करीब भतरोंजखान के निवासी हैं। यह रानीखेत विधानसभा सीट है। खबर है कि नैनवाल की पैरवी संघ की तरफ से भी हुई है।

इसी प्रकार लालकुआं सीट पर मोहन सिंह बिष्ट ने हरीश रावत को भारी मतों से हराया था। यदि ठाकुर चेहरे को भी मंत्रिमंडल में लिया जाता है तो फिर बिष्ट को भी मौका मिल सकता है। इन दोनों चेहरों को आगे बढ़ाकर पार्टी राज्य में कांग्रेस को भी सख्त संकेत दे सकती है। कुमाऊं में 80 प्रतिशत ब्राह्मण ठाकुर कुमाऊं क्षेत्र में ब्राह्मणों एवं ठाकुर मतदाताओं का प्रतिशत बहुत ज्यादा है। दोनों मिलाकर 80 फीसदी से भी ज्यादा हैं। इसलिये मंत्रिमंडल विस्तार में जातीय समीकरणों को साधना जरूरी हो गया है क्योंकि पार्टी लोकसभा चुनाव में फिर से पांचों सीट जीतकर हैट्रिक बनाना चाहती है। अभी यदि मुख्यमंत्री धामी को छोड़ दिया जाए तो इन वर्गों का कोई प्रतिनिधित्व नहीं है।
सितारगंज से विधायक सौरभ बहुगुणा मंत्री जरूर हैं लेकिन वह गढ़वाल के निवासी हैं। वह पूर्व मुख्यमंत्री विजय बहुगुणा के बेटे हैं। यही कारण है कि पार्टी पर कुमाऊं के ब्राह्मण चेहरे को शामिल करने का दबाव है। बता दें कि कुमाऊं से दो अन्य मंत्रियों में सोमेश्वर से रेखा आर्य और बागेश्वर से चंदनरामदास हैं। जो आरक्षित वर्ग को पर्याप्त प्रतिनिधित्व प्रदान करते हैं। सीएम पुष्कर सिंह धामी दिल्ली में दो दिनी गहन मंथन के बाद गुरुवार को देहरादून लौट रहे हैं। उधर, कैबिनेट मंत्री सतपाल महाराज गुरुवार की दोपहर पुणे की फ्लाइट पकड़ रहे हैं। महाराज के नागपुर जाने की भी सम्भावना जतायी जा रही है। कुछ विधायक दिल्ली बुलाये गए हैं। धामी मंत्रिमंडल में फेरबदल को लेकर दिल्ली में पार्टी नेताओं की बैठकें होने से सरगर्मी काफी बढ़ गयी है। सीएम धामी ने बुधवार को महाराष्ट्र के राज्यपाल कोश्यारी व राष्ट्रीय संगठन महामंत्री बीएल संतोष से कई मुद्दों पर चर्चा की। कोश्यारी मंगलवार को दिल्ली पहुंच गए थे। इस बीच दिल्ली में पूर्व सीएम व राज्यपाल भगत सिंह कोश्यारी से सीएम धामी, प्रदेश अध्यक्ष महेंद्र भट्ट व कैबिनेट मंत्री धन सिंह रावत की दो घण्टे तक मुलाकात में कई मुद्दों पर चर्चा हुई। यह अहम मुलाकात बुधवार की सुबह लगभग 9 बजे हुई।

सूत्रों के मुताबिक इस बैठक में प्रदेश के राजनीतिक हालात से लेकर कई अन्य मुद्दों पर बातचीत हुई। इसके बाद सीएम धामी ने पार्टी मुख्यालय में संगठन महामंत्री बीएल संतोष से लगभग 1 घंटे तक मंथन किया। समझा जाता है कि इस बैठक में कैबिनेट के नए स्वरूप पर भी चर्चा हुई। अंकिता भण्डारी हत्याकांड व भर्ती घोटाले के बाद उत्तराखंड में उपजे हालात पर भी बीएल संतोष को वस्तुस्थिति बतायी गयी। भाजपा के मुख्यालय में सांसद अनिल बलूनी से भी सीएम ने मुलाकात की। इससे पूर्व, सीएम धामी ने पर्यटन मंत्री किशन रेड्डी से भी मुलाकात की थी। इस बीच, दिल्ली में भाजपा विधायक मुन्ना सिंह चौहान व प्रमोद नैनवाल भी पहुंच गए हैं। सूत्रों का कहना है कि इन दोनों विधायकों को पार्टी हाईकमान ने बुलाया है। कुछ दिन पूर्व भी विकासनगर से भाजपा के तेज तरौर विधायक चौहान दिल्ली गए थे। पार्टी सूत्रों का कहना है कि दिल्ली में विभागीय कार्यक्रमों के बहाने पार्टी हाईकमान उत्तराखंड की राजनीतिक नब्ज टटोल रहा है। और पार्टी नेताओं के दिल की थाह ले रहा है। भर्ती घोटाले व अन्य घपलों के बाद धामी सरकार के कुछ जनप्रतिनिधि विवादों में घिर चुके हैं। अंकिता हत्याकांड को कांग्रेस व अन्य दलों ने राष्ट्रीय स्तर पर बड़ा मुद्दा बना दिया है। ऐसे में दिल्ली में जारी मंथन के बाद धामी कैबिनेट में कुछ नये चेहरे शामिल करने की संभावना बढ़ गयी है।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

error: Content is protected !!